लगभग 42 सालों से केईएम अस्पताल के वॉर्ड नंबर 4 में एडमिट अरुणा शानबाग पिछले तीन दिनों से अस्पताल के मेडिकल इंटेंसिव केयर यूनिट यानि एमआईसीयू में भर्ती हैं।अस्पताल से मिली जानकारी के अनुसारए अरुणा को निमोनिया हुआ है और उनकी हालत गंभीर बनी हुई है।बता दें कि केईएम अस्पताल में ही नर्स रहीं अरुणा पर लगभग 42 साल पहले अस्पताल के ही एक वॉर्ड बॉय ने हमला कर दिया था और जंजीरों में जकड़ कर उनके साथ बलात्कार किया था।अरुणा 23 नवंबर 1973 से ही बीएमसी के केईएम अस्पताल में भर्ती हैं और मानसिक रूप से अशक्त भी हैं।केईएम अस्पताल के डीन अविनाश सूपे ने बताया कि 68 साल की शानबाग को निमोनिया हुआ है जिसके चलते उनकी हालत बिगड़ने लगी।बुधवार को उन्हें अस्पताल के एमआईसीयू में भर्ती किया गया है। अरुणा की हालत बेहद खराब है और अभी उन्हें वेंटिलेटर पर रखा गया है।डॉक्टरों ने बताया कि उनकी कंडिशन दवाओं से सुधर रही है और सब उम्मीद कर रहे हैं कि वह जल्द ही ठीक हो जाएं।आपको बता दें कि अरुणा शानबाग पर किताब लिखने वालीं लेखिका और अरुणा की दोस्त पिंकी वीरानी ने अरुणा के लिए इच्छा मृत्यु की मांग की थी।सुप्रीम कोर्ट ने साल 2011 में वीरानी की इस अपील को ठुकरा दिया था।बता दें कि अरुणा सालों से कोमा में थीं लेकिन पिछले कुछ समय से वह कोमा में बाहर हैं।