जम्मू-कश्मीर के उधमपुर जिले से जिंदा पकड़ा गया पाकिस्तानी आतंकी ने बताया कि वह लश्करे तैयबा का सदस्य है और वे अमरनाथ यात्रा को निशाना बनाना चाहते थे। सूत्रों के अनुसार 18 से 20 वर्ष की आयु के इस आतंकी ने अपना नाम नावेद, उस्मान खान उर्फ कासिम खान बताया है।आंतकी नावेद ने कहा कि मैं पाकिस्तान से हूं। यहां हिंदुओं को मारने आया हूं। साथी गोलीबारी में मारा गया, लेकिन मैं बच गया। अगर मारा जाता तो यह अल्लाह का करम होता। यह करने में मजा आता है।आतंकी के अनुसार, वह बिना तार काटे 12 दिन पहले जंगल के रास्ते पाकिस्तान से भारत में घुसा था। वह निहत्थे यहां आया था।उसे स्थानीय मददगारों ने हथियार मुहैया कराया था। विलेज डिफेंस कमेटी के हत्थे चढ़े इस आतंकी ने बताया कि वह और एक और आतंकी जम्मू से बस में उधमपुर पहुंचे थे। उनका इरादा अमरनाथ यात्रा को निशाना बनाना था। वे झाडियों में छिपे थे, तभी बीएसएफ का ट्रक वहां से गुजरने से उन्होंने ट्रक पर हमला कर दिया। उर्दू और पंजाबी भाषा में बात कर रहे कासिम ने कहा कि उसने अपने आकाओं और अल्लाह के लिए हमला किया है। आतंकी ने बताया कि उसके साथ आए दूसरे आतंकी का नाम मोमिन है। बीएसएफ के दो जवानों की जान लेने वाले इस आतंकी ने कहा कि लोगों की हत्या करने में उसे मजा आता है। उन्हें मारने के आदेश मिलते हैं।आतंकी को दबोचने वाले कमेटी के सदस्यों ने बताया कि पकड़े जाने पर इस आतंकी ने कहा कि वह किसी को कुछ नहीं करेगा, उसे भागने दिया जाए। सदस्यों ने बताया कि उन्होंने उसे बहला-फुसलाकर पहले हथियार रखने को कहा। और फिर दबोच लिया गया।पकड़े जाने के बाद वो कह रहा था कि उसे गोली मार दी जाए।